रुड़की (ब्यूरो रिपोर्ट)
रुड़की शहर में चुनिंदा नर्सिंग होम बीमार लोगों की खाल उतारने में लगे हुये हैं। आजकल बदलते मौसम में डेंगू, वायरल बुखार, चिकनगुनिया, टायफायड जैसी अनेक बीमारियां गंभीर रुप से पैर पसारे हुये हैं। स्वास्थ्य विभाग इस पर अभी तक लगाम नहीं लगा पाया हैं। सरकार लाख दावें करें, लेकिन धरातल पर खोखले दिखाई देते हैं। सबसे अहम बात यह है कि इन चुनिंदा नर्सिंग होम व क्लीनिक के संचालक आने वाले बीमार लोगों को भर्ती कर लेते हैं तथा उनके द्वारा 20 से 40 रुपये के बीच खरीदी गई डीएनएस (ग्लूकोच) में इंजेक्शन व सुई आदि लगाकर मरीज से हजारों रुपये वसूले जा रहे हैं। जो वास्तविक कीमत से कई गुना ज्यादा हैं, जो बेहद ही चिंताजनक हैं। वहीं इस संबंध में भाकियू (अ) के प्रदेश अध्यक्ष चै. सुभाष नंबरदार ने कड़ी नाराजगी प्रकट की और कहा कि इन नर्सिंग होम व क्लीनिक के संचालकों को अपना रवैया बदलना होगा और जनता से की जाने वाली लूट-खसौट को भी बंद करनी होगी। उन्होंने बताया कि तीमारदार मरीज को ठीक कराने के चक्कर लुट रहे हैं। इन नर्सिंग होम व क्लीनिक द्वारा अपने अस्पताल में ही मैडिकल खोले गये हैं, जिन पर तीमारदारों को जमकर लूटा जा रहा हैं। जो वास्तविक कीमत से कई गुना ज्यादा हैं। बताया कि इसी प्रकार खून की कमी वाले रोगियों को हिमक्सील (ग्लूकोज) लगाया जाता हैं, जिसके एवज में भी हजारों की वसूली की जाती हैं। उन्होंने कहा कि इस संबंध में वह जल्द ही प्रतिनिधि मंडल के साथ सीएमओ हरिद्वार से मिलकर ऐसे नर्सिंग होम व क्लीनिकों पर हो रही लूट-खसौट की शिकायत कर इनके खिलाफ कार्रवाई की मंाग करेंगे। एक ओर चिकित्सक को भगवान का दर्जा दिया जाता हैं, वहीं आज के समय के चिकित्सक केवल बीमारी में अवसर ढूंढने का काम कर रहे हैं। सरकार को इस मामले में जांच कर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए। किसान संगठन ऐसे अस्पतालों के कृत्य की घोर निंदा करता हैं। उन्होंने कहा कि यह काला बाजारी बंद होनी चाहिए। ताकि बीमार लोगों को राहत मिल सके और वह अपना समूचित उपचार करा सके। कई तीमारदारों ने बताया कि अब चिकित्सकों से भरोसा उठता जा रहा हैं, वह उधारी लेकर अपने मरीज का उपचार कराने आते हैं, इसके बावजूद भी चुनिंदा अस्पतालों के चिकित्सक रहम नहीं करते और एक के सौ दाम वसूलने पर आमदा हैं। वहीं कई लैब संचालक भी मिलीभगत कर मोटी कमाई कर रहे हैं। ये ही नहीं उनके द्वारा जान-बूझकर भ्रमित रिपोर्ट दी जाती हैं और बाद में मुनाफा कमाकर उसे बदल दिया जाता हैं। इस प्रकार के मामले शहर में लगातार बढ़ रहे हैं और स्वास्थ्य विभाग की चैन की नींद सो रहा हैं। वहीं सीएमओ डाॅ. मनीष दत्त ने बताया कि ऐसे लैब संचालकों को चिन्हत कर उन पर उचित कार्रवाई की जायेगी।